New Delhi, 24 अगस्त . भारतीय प्रतिभूति और विनिमय बोर्ड (सेबी) ने भारतीय जीवन बीमा निगम (एलआईसी) को आईडीबीआई बैंक में एक पब्लिक शेयरहोल्डर के रूप में पुनर्वर्गीकरण करने को मंजूरी दे दी है. यह जानकारी बैंक की ओर से स्टॉक एक्सचेंज फाइलिंग में दी गई.
यह जानकारी ऐसे समय पर सामने आई है, जब सरकार आईडीबीआई बैंक के विनिवेश को लेकर लगातार काम कर रही है.
फाइलिंग में कहा गया कि सेबी के निर्देशों के मुताबिक, आईडीबीआई बैंक में एलआईसी के पास कुल वोटिंग राइट्स का केवल 10 प्रतिशत हिस्सा होगा. साथ ही एलआईसी के पास बैंक में कोई विशेष अधिकार नहीं होगा और न ही आईडीबीआई बैंक के बोर्ड ऑफ डायरेक्टर्स में एलआईसी का कोई प्रतिनिधि होगा.
बैंक के रणनीतिक विनिवेश के तहत नए अधिग्रहणकर्ता द्वारा लाए जाने वाले ऑपन ऑफर के संबंध में शेयरधारकों को जारी किए जाने वाले प्रस्ताव पत्र में एलआईसी द्वारा अपनी शेष हिस्सेदारी के पुनर्वर्गीकरण के बारे में बताया जाएगा. महत्वपूर्ण बात यह है कि एलआईसी को रणनीतिक विनिवेश लेनदेन की समाप्ति तिथि से दो वर्षों के भीतर बैंक में अपनी हिस्सेदारी घटाकर 15 प्रतिशत करनी होगी.
सेबी की मंजूरी के साथ, आईडीबीआई बैंक अब औपचारिक पुनर्वर्गीकरण के लिए स्टॉक एक्सचेंजों से संपर्क करेगा. इस घटनाक्रम को बैंक के निजीकरण की यात्रा में एक महत्वपूर्ण मील का पत्थर माना जा रहा है, जो इसकी बैंक का शेयरहोल्डिंग पैटर्न नियामक मानदंडों के अनुरूप हो जाएगा.
इससे पहले निवेश एवं लोक परिसंपत्ति प्रबंधन विभाग (दीपम) के सचिव अरुणीश चावला ने कहा था कि आईडीबीआई बैंक में हिस्सेदारी बिक्री के लिए रुचि पत्र (एक्सप्रेशन ऑफ इंटरेस्ट) की प्रक्रिया पूरी हो चुकी है और अभी ड्यू डिलिजेंस (ड्यू डिलिजेंस) की प्रक्रिया चल रही है. सरकार को उम्मीद है कि इस वित्त वर्ष की तीसरी तिमाही तक हिस्सेदारी बिक्री के लिए बोलियां आमंत्रित की जाएंगी.
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एबीएस/
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