Top News
Next Story
Newszop

पसमांदा मुस्लिम महाज ने किया वक्फ बिल का समर्थन, जेपीसी को ईमेल से मिले 91 लाख 78 हजार से ज्यादा सुझाव ( लीड-1)

Send Push

नई दिल्ली,19 सितंबर . वक्फ (संशोधन) विधेयक 2024 पर विस्तार से विचार-विमर्श करने के लिए बनाई गई जेपीसी की पांचवी बैठक में भी सत्ता पक्ष और विपक्ष के बीच जमकर हंगामा हुआ. भाजपा और विपक्षी दलों के सांसदों के बीच कई बार तीखी नोक-झोंक हुई. बैठक में एक समय ऐसा भी आया जब जेपीसी चेयरमैन जगदंबिका पाल और विपक्षी सांसदों के बीच भी तीखी बहस हुई. वहीं दूसरी तरफ जेपीसी को 18 सितंबर तक देशभर से 91 लाख 78 हजार से ज्यादा सुझाव ई-मेल के जरिए मिल चुके हैं.

इतने बड़े पैमाने पर आ रहे सुझावों को देखते हुए एक तरफ जहां ई-मेल इनबॉक्स की क्षमता को बढ़ाया गया है और निगरानी वाली टीम भी लगातार आने वाले मेल का रिकॉर्ड सेव करने के बाद इनबॉक्स को खाली कर रही है, लेकिन यह उतनी ही तेजी से भर जा रहा है. वर्तमान में 15 कर्मचारियों को ई-मेल की निगरानी पर लगाया गया है, लेकिन इतने बड़े पैमाने पर आ रहे सुझावों को देखते हुए जेपीसी ने लोकसभा अध्यक्ष से और ज्यादा स्टॉफ की मांग की है, ताकि ई-मेल्स का अध्ययन कर जल्द से जल्द रिपोर्ट बनाई जा सके.

सूत्रों के मुताबिक, जेपीसी को ई-मेल के जरिए जो सुझाव मिले हैं, उनमें से 12801 ई-मेल अटैचमेंट के साथ आए हैं और 75,650 ई-मेल स्पैम फोल्डर में आए हैं. वहीं गुरुवार को मुस्लिम समाज की तरफ से विधेयक पर अपना पक्ष रखने के लिए आए पसमांदा मुस्लिम महाज के प्रतिनिधियों ने जेपीसी की बैठक में सरकार के बिल का पुरजोर शब्दों में समर्थन किया. उन्होंने इस बिल को 85 प्रतिशत मुसलमानों के लिए फायदेमंद करार देते हुए मुस्लिम समाज के दलितों और आदिवासियों को भी इसमें जगह देने की मांग की.

बैठक में जब पसमांदा मुस्लिम महाज के प्रतिनिधि बिल पर अपनी बात रख रहे थे तो विपक्ष के कई सांसद उन्हें रोक रहे थे. इसे लेकर भाजपा और विपक्षी पक्ष के सांसदों के बीच जोरदार बहस भी हुई. भाजपा सांसदों ने विपक्षी सांसदों के रवैये पर नाराजगी जाहिर करते हुए कहा कि जब कोई मुस्लिम व्यक्ति या संगठन बिल का विरोध करते हैं, तो विपक्षी सांसद चुपचाप सुनते हैं, लेकिन जब भी कोई बिल का समर्थन करता है, तब विपक्षी सांसद व्यवधान पैदा करते हैं.

पटना स्थित चाणक्य नेशनल लॉ यूनिवर्सिटी के वाइस चांसलर एवं मुस्लिम बुद्धिजीवी प्रो. फैजान मुस्तफा ने भी बिल को लेकर जेपीसी के समक्ष अपनी बातें रखी. उन्होंने वक्फ बाई यूजर और वक्फ ट्रिब्यूनल सहित बिल के कई प्रावधानों का समर्थन तो किया, लेकिन इसके साथ ही उन्होंने डीएम को सारी शक्तियां देने सहित कई अन्य प्रावधानों को गलत भी बताया. प्रो. फैजान मुस्तफा ने सरकार को सभी की सहमति के आधार पर ही आगे बढ़ने की सलाह भी दी.

सूत्रों के मुताबिक, जेपीसी की बैठक में आम आदमी पार्टी सांसद संजय सिंह और एआईएमआईएम के असदुद्दीन ओवैसी ने केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह के बयान का भी मुद्दा उठाया. दोनों सांसदों ने कहा कि जब वक्फ (संशोधन) बिल पर जेपीसी विचार कर रही है और मामला जेपीसी के पास है, तो फिर गृह मंत्री बिल को लेकर बाहर बयान क्यों दे रहे हैं ? विपक्षी सांसदों ने तो यहां तक आरोप लगाया कि जेपीसी पर दबाव बनाने का प्रयास किया जा रहा है. इन आरोपों पर भी जेपीसी की बैठक में तीखी बहस हुई.

वहीं ऑल इंडिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड ने इस बिल को इस्लाम और मुसलमान विरोधी बताते हुए बिल का पूरी तरह से विरोध किया. उन्होंने जेपीसी की बैठक में सरकार की मंशा पर सवाल उठाते हुए कहा कि इबादत और दान,इस्लाम मे आस्था का हिस्सा है जिसका जिक्र कुरान में भी किया गया है. उन्होंने वक्फ (संशोधन) विधेयक 2024 को वक्फ के अधिकारों में हस्तक्षेप करार देते हुए इस बिल का जोरदार विरोध किया.

इस दौरान भाजपा के एक सांसद ने वक्फ संपत्तियों के डॉक्युमेंटशन का मुद्दा उठाया, जिस पर बैठक में हंगामा शुरू हो गया. इस मुद्दे को लेकर जेपीसी चेयरमैन जगदंबिका पाल और विपक्षी सांसदों के बीच तीखी बहस भी हुई. आपको बता दें कि,जेपीसी की अगली बैठक शुक्रवार 20 सितंबर को होगी. जेपीसी की शुक्रवार को होने वाली छठी बैठक के लिए अखिल भारतीय सज्जादानशीन परिषद-अजमेर, मुस्लिम राष्ट्रीय मंच और भारत फर्स्ट-दिल्ली से जुड़े लोगों को बिल पर अपना-अपना पक्ष रखने के लिए बुलाया गया है.

एसटीपी/

The post पसमांदा मुस्लिम महाज ने किया वक्फ बिल का समर्थन, जेपीसी को ईमेल से मिले 91 लाख 78 हजार से ज्यादा सुझाव ( लीड-1) first appeared on indias news.

Loving Newspoint? Download the app now